भाजपा स्पष्ट करें कि अयोध्या में राम मंदिर का निर्माण फैसला उनका है या सुप्रीम कोर्ट का
- चारों पीठ के शंकराचार्यों को आमंत्रण नहीं और पहला आमंत्रण बाबरी मजिस्द याचिकाकर्ता के पुत्र इकबाल अंसारी को भाजपा, आरएसएस इस क्रोनोलॉजी को समझाये
- मोहम्मद फैज़ खान जो गौ रक्षा प्रकोष्ठ मुस्लिम राष्ट्रीय मंच के राष्ट्रीय संयोजक हैं उसे अयोध्या भेज कर आरएसएस भाजपा क्या संदेश देना चाह रही है?
- राम मंदिर रायपुर से जब प्रदेश की माटी अयोध्या भेजी जा रही थी तो चंद कदमो की दूरी में रहने वाले पूर्व मुख्यमंत्री पूजा में शामिल क्यों नही हुये?
- पूर्व मंत्री बृजमोहन अग्रवाल, अजय चंद्राकर, राजेश मूणत भी माटी पूजन कार्यक्रम में क्यो शामिल नही हुये?
- अगर राम मंदिर भाजपा/आरएसएस बनवा रहीं है तो छत्तीसगढ़ के धर्माचार्यो को क्यो नही निमंत्रण दिया?
- क्यो महंत राम सुन्दरदास, गुरु घासीदास बाबा के वंशज, कबीरदास साहेब के वंशज और आदिवासियों को विहिप/आरएसएस/भाजपा ने न्यौता नही दिया?
रायपुर/06 अगस्त 2020। छत्तीसगढ़ प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रवक्ता विकास तिवारी ने भारतीय जनता पार्टी से गंभीर सवाल करते हुये कहा कि कल जब धर्म नगरी अयोध्या में भगवान मर्यादा पुरुषोत्तम राम के भव्य मंदिर का भूमि पूजन कार्यक्रम हो रहा था तब भारतीय जनता पार्टी की प्रदेश इकाई यह प्रचारित करने में जुटी हुई थी कि राम मंदिर का निर्माण का फैसला भारतीय जनता पार्टी, आरएसएस और विश्व हिंदू परिषद का है और इसका पूरा श्रेय वह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को देने का भ्रामक प्रचार कर रहे थे। जबकि राम मंदिर और बाबरी मस्जिद विवाद का फैसला माननीय सुप्रीम कोर्ट के द्वारा किया गया और इस फैसले का स्वागत पूरे देश के 130 करोड़ जनता ने किया। यह किसी राजनीतिक पार्टी या किसी स्वयंसेवी संगठन के द्वारा लिया गया फैसला नहीं था। यह फैसला देश की सर्वोच्च अदालत सुप्रीम कोर्ट द्वारा लिया गया फैसला था।
कांग्रेस प्रवक्ता विकास तिवारी ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी के पूर्व मुख्यमंत्री डॉ रमन सिंह को यह बताना चाहिए कि अगर यह मंदिर निर्माण का श्रेय भारतीय जनता पार्टी को जाता है तो क्या कारण थे कि प्रदेश के शिवरीनारायण मठ के प्रमुख महंत श्री रामसुंदर दास, गुरु घासीदास बाबा के वंशज, कबीरदास साहब के वंशज और आदिवासी समाज जो कि वनवास के समय भगवान श्री राम, सीता माता और लक्ष्मण की सहायता की थी उन्हें अयोध्या के मंदिर निर्माण के भूमि पूजन में भारतीय जनता पार्टी और आरएसएस ने आमंत्रित क्यों नहीं किया? जबकि इन्हीं के आशीर्वाद से पूर्व मुख्यमंत्री डॉ रमन सिंह 15 साल से प्रदेश में मुख्यमंत्री के पद में सुशोभित थे और प्रदेश में भाजपा की सरकार थी। वहीं दूसरी ओर जब रायपुर स्थित राम मंदिर से छत्तीसगढ़ की पावन माटी और विभिन्न स्थानों का पवित्र जल लेकर जब सिंधी समाज के प्रमुख युधिष्ठिर लाल महाराज अयोध्या की ओर प्रस्थान कर रहे थे तब चंद कदम दूर मौलश्री विहार के महलनुमा कोठियों में निवासरत पूर्व मुख्यमंत्री डॉ रमन सिंह, पूर्व मंत्री बृजमोहन अग्रवाल, पूर्व मंत्री राजेश मूणत और पूर्व मंत्री अजय चंद्राकर ने कौशल्या माता के मायके की माटी और पवित्र जल को रवाना करने के लिए राम मंदिर नहीं पहुंचे और इस कार्यक्रम से दूरी बना ली। और दूसरे दिन पूर्व मुख्यमंत्री और पूर्व मंत्री गण रायपुर स्थित राम मंदिर पहुंचकर पूजा पाठ के कार्यक्रम में शामिल हुए। माता कौशल्या के मायके से धर्म गुरुओं को आमंत्रित नहीं करके भारतीय जनता पार्टी विश्व हिंदू परिषद और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ क्या संदेश देना चाहते हैं स्पष्ट करें।
कांग्रेस प्रवक्ता विकास तिवारी ने आरएसएस और विहिप से सवाल किया है कि कांग्रेस पार्टी को सेक्युलर और मुस्लिम हितैषी के रूप में प्रचारित करने वाली राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ और विश्व हिंदू परिषद के नेताओ को बताना चाहिये कि मुस्लिम राष्ट्रीय मंच जो कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की विचारधारा का संगठन है। उसके राष्ट्रीय संयोजक फैज खान को रायपुर से माटी लेकर अयोध्या भेजकर क्या संदेश देना चाहती है और बाबरी मस्जिद के पक्षकार हाशिम अंसारी के बेटे इकबाल अंसारी को भूमिपूजन कार्यक्रम का पहला निमंत्रण भेजकर वह मुस्लिम देशों के आगे क्या अपनी छवि सुधारना चाह रही है?