मूणत कोई भी तर्क दे स्काई वाक भाजपा के भ्रष्टाचार का स्मारक के रूप में ही जाना जाएगा -कांग्रेस
मूणत कोई भी तर्क दे स्काई वाक भाजपा के भ्रष्टाचार का स्मारक के रूप में ही जाना जाएगा -कांग्रेस
रायपुर/13 जून 2019। स्काई वाक के सम्बंध में पूर्व मंत्री राजेश मूणत की सफाई को खारिज करते हुए प्रदेश कांग्रेस के मुख्य प्रवक्ता सुशील आनंद शुक्ला ने कहा कि जनसुविधाओं का ख्याल किये बिना सिर्फ भ्रष्टाचार की नीयत से भाजपा सरकार द्वारा स्काई वाक बनवाया गया है। शहरवासियों और कांग्रेस सहित अनेको राजनैतिक दलों के विरोध को दरकिनार कर राजेश मूणत ने अपनी जिद में जनता की गाढ़ी कमाई के 70 करोड़ रु. बर्बाद कर दिया है। स्काई वाक की उपयोगिता और उसके निर्माण का निर्णय शिलान्यास के दिन से संदिग्ध रहा है। कौन पैदल चलने वाला व्यक्ति पच्चीस फिट ऊंची सीढ़ी को चढ़ कर स्काई वाक पर चलने जाएगा। रायपुर की सड़कों पर अभी पैदल यातायात का घनत्व इतना अधिक नही है कि स्काई वाक बनाने की नौबत आती। तत्कालीन सरकार में रायपुर के यातायात को सुगम बनाने की इच्छाशक्ति होती तो स्काई वाक की जगह टाटीबंध तक फ्लाई ओवर की योजना बनाती स्काई वाक के कारण रायपुर की जनता की बहुप्रतीक्षित मांग फ्लाई ओवर बनाने की तो भ्रूण हत्या भाजपा सरकार ने कर दिया। स्काई वाक जिनके सुविधा के नाम पर बनाने का दावा राजेश मूणत कर रहे वही जनता उसका विरोध कर रही है। मूणत रोड डिवाइडर की चैड़ाई कम करने की दुहाई दे रहे है हकीकत में स्काई वाक के नीचे रोड डिवाइडर बड़े अवरोधक बन गए है कोई पैदल चलने वाला व्यक्ति बिना एक चैक से दूसरे चैक गए सड़क को पार नही कर सकता। भाजपा सरकार ने जिन पैदल चलने वालों के लिए स्काई वाक बनवाया उन्ही लोगो के लिए यह सबसे ज्यादा परेशानी का कारण बन गया है। भाजपा सरकार यदि कम बजट में लोगो को सुविधा देने की नीयत रखती तो वह स्काई वाक की जगह पैदल पार पथ का निर्माण करवाती। जिन दो चार नगरों में स्काई वाक बना है वे सारे आज अनुयोगों साबित हो रहे है। मूणत और भाजपा कुछ भी कह ले, कुछ भी तर्क दे, रायपुर का स्काई वाक भाजपा की रमन सरकार के भ्रष्टाचार और अदूरदर्शिता के स्मारक के रूप में ही जाना जाएगा। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने संवेदनशीलता से जनता की राय मंगाना शुरू किया है जो जनता चाहेगी वही होगा। स्काई वाक टूटे या रहे जनता के धन की बर्बादी रमन-मूणत ने ही की है। स्काई वाक निर्माण में हुयी जनता के धन की बर्बादी की गुनाहगार तत्कालीन समूची भाजपा सरकार है और यदि जनभावना इसे तोड़ने के पक्ष में आती है या तोड़ने में होने वाले सरकारी धन की बर्बादी की भी जिम्मेदारी रमन सिंह और राजेश मूणत की ही होगी।