नीति आयोग द्वारा आयोजित एटीएल मैराथन प्रतियोगिता में छत्तीसगढ़ स्कूली बच्चों के 13 प्रोजेक्ट का चयन
रायपुर, 23 जुलाई 2021/ नीति आयोग के अटल इनोवेशन मिशन ने अटल टिंकरिंग लैब (एटीएल) मैराथन 2020 के परिणाम जारी किए हैं। इसमें छत्तीसगढ़ राज्य के 13 प्रोजेक्ट का चयन टॉप 300 में हुआ है। टॉप 300 में राज्य के 9 स्कूलों से 13 प्रोजेक्ट चयनित हुए हैं, जिनमें 5 शासकीय स्कूल से 9 प्रोजेक्ट चयनित किए गए हैं। प्रदेश के बिलासपुर जिले से 5, महासमुंद जिले से 3, बालोद जिले से 3 और रायपुर जिले से 2 प्रोजेक्ट का चयन किया गया है।
एटीएल मैराथन 2020 इस वर्ष नवम्बर 2020 में नीति आयोग द्वारा प्रारंभ किया गया। इसमें 17 हजार से अधिक छात्रों के द्वारा कुल 7200 प्रोजेक्ट जमा किए गए। इनमें से टॉप 300 प्रोजेक्ट का चयन किया गया है। छत्तीसगढ़ राज्य से चयनित 13 प्रोजेक्टों में से रायपुर जिले के कृष्णा पब्लिक स्कूल से इको सेफ ट्रेफिक सिस्टम और देहली पब्लिक स्कूल से जैविक खाद हेतु उपयुक्त पौधे का चयन विषय पर बनाए गए प्रोजेक्ट का चयन हुआ है। इसी प्रकार महासमुंद जिले के शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय से नर्रा से आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस आधारित निरीक्षण तंत्र, शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय बेलसोंडा से एक्सीडेंट डिटेक्शन सिस्टम और शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय गढफुलझर से कृषि में सिंचाई के आटोमेटिक उपाय विषय के प्रोजेक्ट का चयन किया गया है। जिला बालोद के शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय से डिजिटल केलकुलेटर, डिजिटल काउंटर, एयर प्यूरीफिकेशन तथा बिलासपुर जिले के शासकीय बालक उच्चतर माध्यमिक विद्यालय बिलासपुर से डॉक्टर रोबोट, लघु उद्योगों के लिए इन ऑफ डूइंग उपाय और पशुओं में खुरहा चपका बीमारी के डायग्नोस्टिक किट (काऊ रिलिवर), भारत माता इंग्लिश मीडियम स्कूल बिलासपुर से डेमोग्राफी और सेंट जेवियर स्कूल बिलासपुर से इकोनॉमी विषय के प्रोजेक्ट का चयन किया गया है।
नीति आयोग के अटल इनोवेशन मिशन के तहत स्कूली बच्चों में इनोवेशन, आइडेशन, डिजाइन थिंकिंग सीखने के लिए देश भर के सरकारी और नीजि विद्यालयों में अटल टिंकरिंग लैब की स्थापना की गई है। इस मिशन के तहत छत्तीसगढ़ में अब तक कुल 326 अटल टिकरिंग लैब की स्थापना हो चुकी है। राष्ट्रीय स्तर पर प्रतिभा प्रदर्शन के लिए नीति आयोग के अटल इनोवेशन मिशन की ओर से वार्षिक प्रतियोगिता का आयोजन एटीएल मैराथन के नाम से हर वर्ष किया जाता है। इस मैराथन प्रतियोगिता में कक्षा 6वीं से 12वीं तक छात्रों को आम लोगों के जीवन से जुड़ी समस्याओं के समाधान के लिए आइडिया आमंत्रित किए जाते हैं। नीति आयोग द्वारा चयनित आइडियाज पर मेटर के सहयोग, एटीएल के उपकरणों और माडयूल का उपयोग करते हुए प्रोटोटाइप बनाए जाते हैं। चयनित मॉडल, आइडिया का पेटेंट भी कराया जाता है, जो संबंधित स्कूल के नाम से होता है।
इस वर्ष मैराथन प्रतियोगिता ‘आत्मनिर्भर भारत’ परियोजना के 5 महत्वपूर्ण स्तंभों-इकोनामी, इंफ्रास्ट्रक्चर, सिस्टम, डेमोग्राफी और डिमांड पर आधारित थी। इसके अलावा यूनाइटेड नेशन द्वारा स्वीकृत 17 सस्टेनेबल डव्हलपमेंट गोल को सम्मिलित करते हुए छात्रों से लघु शोध आधारित प्रोजेक्ट आमंत्रित किए गए थे। इन विषयों की समस्याओं के आधार पर छात्रों को समाधानयुक्त लघु प्रोजेक्ट तैयार कर जमा किए।