डेयरी फार्म: वन प्रबंधन समिति धमनी की बढ़ी आमदनी
- लोगों को पलायन से मिली मुक्ति, गांव-घर में ही मिला रोजगार
रायपुर, 17 मार्च 2021/ संयुक्त वन प्रबंधन समिति धमनी की आमदनी डेयरी फार्म से निरंतर बढ़ने लगी है। इसके फलस्वरूप धमनी ग्राम के गरीबी रेखा से नीचे के 16 परिवारों के पलायन करने की मजबूरी जहां दूर हो गई है वहीं वे अब अपने गांव में ही सम्मानजनक ढंग से जीवन-यापन करने लगे हैं।
गौरतलब है कि शासन की पहल से संयुक्त वन प्रबंधन समितियों को लघु वनोपजों के संग्रहण और प्रसंस्करण सहित विभिन्न आय मूलक गतिविधियों के संचालन के लिए बेहतर अवसर उपलब्ध हो रहे हैं। इस तारतम्य में बलौदाबाजार वन मंडल के अंतर्गत ग्राम धमनी के संयुक्त वन प्रबंधन समिति द्वारा डेयरी फार्म का कुशलतापूर्वक संचालन किया जा रहा है। समिति में श्री रामनारायण यादव की अध्यक्षता में कुल 16 सदस्य है। सभी सदस्य भूमिहीन और गरीबी रेखा से नीचे के हैं। इनके द्वारा वन विभाग के मार्गदर्शन में डेयरी फार्म की स्थापना की गई है।
योजना की महत्वपूर्ण बातें ये हैं कि सभी सदस्य मिलकर एक ही जगह पर गौशाला बनाए हैं। इसके लिए सभी सदस्यों का 5-5 हजार रूपए का अंशदान है। गौशाला के सभी काम सदस्यों ने स्वयं श्रमदान से पूरे किए हैं। गौशाला में प्रत्येक सदस्य के लिए 16 छप्पर एक साथ बनाए गए हैं। एक छप्पर में एक सदस्य की 4 गायों को रखा गया है। गायों की कीमत की व्यवस्था चक्रीय निधि से न्यूनतम ब्याज पर वन विभाग द्वारा किया गया है। इस योजना पर कुल 35 लाख रूपए खर्च हुए हैं।
धमनी के गौशाला में अब तक 30 गायें आ चुकी है। सभी दूधारू हैं। इसके साथ 29 बच्चे भी हैं। अभी डेयरी फार्म में प्रतिदिन 40 लीटर दूध का उत्पादन हो रहा है। यहां गौशाला परिसर में ही नेपियर घास का भी रोपण किया गया है। जिसे गायों को हरा चारा की सहज उपलब्धता हो जाती है। इसके साथ ही यहां गौशाला में गोबर गैस और वर्मी कम्पोस्ट संयंत्र की भी स्थापना की योजना है। इसके अलावा समिति की आमदनी को निरंतर बढ़ाने के लिए आगामी योजना के तहत यहां अन्य दुग्ध उत्पाद बनाने का कार्यक्रम है। इसके तहत सुबह के दूध को बाजार में बेचा जाएगा और शाम के दूध से दही, पनीर तथा मक्खन आदि बनाकर बेचे जाएंगे।