विकास उपाध्याय ने गांधी परिवार के हाथों ही नेतृत्व सौंपे जाने की वकालत की
रायपुर / छत्तीसगढ़ सरकार में संसदीय सचिव विकास उपाध्याय दिल्ली में कांग्रेस के नए अध्यक्ष चुने जाने की अटकलों के बीच रायपुर में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस कर बड़ा बयान दिया है। उन्होंने कहा की जब जब गांधी परिवार से हट कर कांग्रेस को चलाने की बात हुई है पार्टी कमजोर हुआ है और आज की स्थिति व हालात में ऐसा हुआ तो कांग्रेस और भी कमजोर होगा। विकास ने गांधी परिवार के हाथों ही नेतृत्व सौंपे जाने की वकालत करते हुए कहा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का जो सार्वजनिक जगहों से लेकर कई मौकों पर यह कहना कि वो कांग्रेस मुक्त भारत चाहते हैं, दरअसल ऐसा नहीं असल में वो गांधी परिवार मुक्त कांग्रेस की बात करते हैं। इस बात को कांग्रेस के एक-एक कार्यकर्ता व पार्टी के नेताओं को समझ जाना चाहिए। मोदी कांग्रेस से नहीं बल्कि ज्यादा गांधी परिवार के मजबूत नेतृत्व क्षमता से डरते हैं।
विकास उपाध्याय ने पत्रकारों से चर्चा करते हुए कहा कि देश के मुख्य विपक्षी पार्टी कांग्रेस का पुराना जनाधार पिछले कई वर्षों में काफी कम हुआ है। यह भी सच है कि इतने वर्षों के बाद पिछले दो लोकसभा चुनावों में पार्टी की बड़ी हार हुई है और पहली बार 2014 और 2019 के लोकसभा चुनावों में सौ से भी कम सीटें कांग्रेस को मिली है। पिछले लोकसभा चुनाव के समय राहुल गांधी पार्टी के अध्यक्ष थे और उन्होंने अध्यक्ष पद से इस्तीफा देते हुए लिखा था कि अध्यक्ष के नाते हार के लिए मैं जिम्मेदार हूँ। इसलिए अध्यक्ष पद से इस्तीफा दे रहा हूँ। पार्टी को जहाँ भी मेरी जरूरत पड़ेगी मैं मौजूद रहूँगा।
विकास उपाध्याय ने आगे कहा इस बीच सार्वजनिक तौर पर पार्टी को बहुत बार देश के वर्तमान हालात के लिए मोदी सरकार को सजग करने राहुल जी की जरूरत महसूस हुई और उन्होंने एक मजबूत विपक्ष की तरह देश के सामने हर मुद्दे पर अपनी बात रखी और ऐसा कर उन्होंने कांग्रेस पार्टी को ही नहीं बल्कि पूरे विपक्ष को भी इस बात का एहसास दिलाया कि मोदी जो कह रहे हैं या कर रहे हैं वही सही है मान लेना सही नहीं होगा।
विकास उपाध्याय ने कहा कांग्रेस पार्टी को राहुल गांधी में उम्मीद नजर आती है क्योंकि वो वास्तव में नरेंद्र मोदी का एक विकल्प पेश करते हैं। मोदी की हर नीति को राहुल गांधी चुनौती देते नजर आते हैं। उन्होने कहा पिछले कुछ वर्षो में यदि विभिन्न राज्यों में हुये विधानसभा चुनाव कि स्थति के बारे में भी यदि ध्यान दिया जाये तो गुजरात समेत मध्यप्रदेश, राजस्थान, पंजाब, कर्नाटक, मणिपुर, पंाडिचेरी एवं छत्तीसगढ में पार्टी ने मजबूत स्थति कायम की इसमें गुजरात में तो राहुल गांधी के ताबडतोड प्रचार के चलते लगभग कांग्रेस पार्टी का बराबरी का मुकाबला रहा है। इन चुनावो में भी मतदाताओ ने राहुल गांधी के चेहरे को सामने में रख मतदान किया था, इससे इनकार नही किया जा सकता।
विकास उपाध्याय ने कहा बीजेपी एक चुनौती है कहना गलत है ये भी हमें नहीं भूलना चाहिए कि पिछले विधानसभा चुनाव में दिल्ली और झारखंड में बीजेपी की हार भी हुई् इसलिए यह बात नहीं है कि कांग्रेस या फिर विपक्ष बीजेपी को टक्कर नहीं दे सकते या फिर उसका विकल्प नहीं बन सकते। आज मोदी और पूरा उनका सिस्टम साथ में भाजपा मिल कर देश के पूरे माहौल को सोशल मीडिया से लेकर प्रचार के पूरे तंत्र को हाइजेक कर देश को वास्तविकता से दूर कर दी है। ये जो दिखाते हैं जनता उसे ही सही समझ रही है और उसी को देख रही है। राहुल गांधी एक मात्र नेता हैं जो इसके वास्तविकता का लगातार खुलासा कर सामने आ रहे हैं और इसीलिए मोदी को भय है तो बस इस गांधी परिवार से जिसे कांग्रेस को भी असली ताकत के रूप में अख्तियार करना चाहिए।