राज्य की आर्थिक स्थिति बुरी तरह चरमरा गई, सरकार के पास वेतन देने के भी लाले पड़ गए : रमन सिंह

राज्य की आर्थिक स्थिति बुरी तरह चरमरा गई, सरकार के पास वेतन देने के भी लाले पड़ गए : रमन सिंह

नए निर्माण और विकास कार्य की उम्मीद नहीं-रमन

रायपुर- छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री डाक्टर रमन सिंह ने कहा है कि भूपेश सरकार की वित्तीय स्थिति बुरी तरह से चरमरा गई है. हालात यह है कि सरकार के पास वेतन देने तक के लाले पड़ गए हैं. उन्होंने कहा कि बजट में 30 फीसदी कटौती किया जाना तात्कालिक उपाय हो सकता है, लेकिन सवाल यह है कि आने वाले समय में वित्तीय संकट को लेकर सरकार के पास क्या योजना है?

डाक्टर रमन सिंह ने कोरोना आपदा के बीच सरकार की वित्तीय हालत की समीक्षा किए जाने के बाद यह बयान दिया है. उन्होंने कहा कि कर्ज की सीमा 5 फीसदी बढाने के बाद भी हालात नहीं बुरे हैं. ऐसे वक्त में सरकार को चाहिए कि कोई ठोस योजना तैयार करे. रमन सिंह ने कहा कि मैं इस सरकार की सबसे बड़ी उपलब्धि यही मानूंगा कि पिछली सरकार के दौरान हुए का मेंटनेंस कर लें. नए निर्माण कार्य, नए विकास काम की उम्मीद नहीं की जानी चाहिए. उन्होंने चुनौती भरे अंदाज में कहा है कि वित्तीय संकट के नतीजे हम सब देखेंगे. आप भी यहां है, हम भी यहीं है.
बता दें कि कोरोना संक्रमण को फैलने से रोकने के लिए लगाए गए लॉकडाउन का असर अर्थव्यवस्था पर पड़ने लगा है, और इसके संकेत नजर आते ही छत्तीसगढ़ सरकार ने विभागीय कटौती पर लगाम कसने के साथ नई नियुक्तियों, तबालदों और वेतन वृद्धि पर रोक लगा दी है. वित्त विभाग के विशेष कर्तव्यस्थ अधिकारी राघवेंद्र कुमार की ओर से सभी विभागों, राजस्व मंडल अध्यक्षों, संभागायुक्तों, विभागाध्यक्षों और कलेक्टरों को जारी 3 पन्नों के पत्र में शासकीय व्यय में मितव्ययिता और वित्तीय अनुशासन की बात कही है. इसमें नए पदों का निर्माण, स्थानांतरण, महंगे होटलों में बैठकें, विदेश यात्रा और नए वाहनों की खरीदी पर रोक लगाने के साथ रिक्त पदों पर भर्ती, पदोन्नति, वार्षिक वेतन वृद्धि में मितव्ययता बरतनी होगी. वित्त विभाग का यह आदेश 31 मार्च 2021 तक लागू रहेगा.

The News India 24

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